Call Girls In Dehradun

मेरी जांघों के बीच तो आपको पता ही होगा कि क्या होता है! जांघों के बीच पावरोटी की तरह फूली हुई मेरी चूत  है. इतनी फूली हुई कि पैंटी के ऊपर से ही साफ दिखती है, बिलकुल  देहरादून की रंडियों की तरह  मेरी चूत को मेरे पति वर्टिकल लिप्स बोलते हैं. मेरी चूत के छेद को ढकने के लिए जो दो लिप्स हैं वो हमेशा फूल कर उसे ढके रहते हैं. ठीक वैसे ही जैसे कली को फूलों की पंखुड़ी ढक के रहती है. इन दो फांकों के बीच मेरी गुलाबी चूत है जो हमेशा चुदने को तैयार रहती है…



मेरी गांड बड़ी है और बाहर निकली हुई है. एक बात और बताऊं! मेरे पति को मेरी गांड बहुत पसंद है और वो मेरी गांड खूब दबाते, मसलते और गांड के छेद के ऊपर ऊँगली से सहलाते हैं. इसके बाद फिर अपनी नाक से मेरी गांड को सूँघते भी है और जीभ से गांड के छेद सहित गांड का कोना – कोना चाटते हैं.
कुछ दिनों बाद मेरे पति आ गए थे. एक दिन हम दोनों आज घर पर अकेले थे और उन्होंने आज कुछ खास ही प्लान कर रखा था. फिर वो बाजर गए और वहां से कुछ सामान खरीद कर लाये.क्या लाये, ये मुझे नहीं बताया. फिर उन्होंने मुझे कहा कि आज मैं जो कुछ भी बोल रहा हूँ तुम्हें बस वैसे ही करना है. मुझे पता था आज वो कुछ ख़ास करेंगें, लेकिन क्या करेंगें इसका अंदाजा मुझे नहीं था. यही सोच – सोच कर मुझे मेरी चूत और चूची में बहुत खुजली और गांड में अजब तरह की सुरसुरी हो रही थी.फिर सबसे पहले वे मुझे बाथरूम ले गए और अंदर जाकर उन्होंने मेरे सारे कपड़ें खोल दिए. इसके बाद फिर उन्होंने कहा कि आज हम अपनी आठवीं सालगिरह मनाएंगे.फिर उन्होंने मेरे बालों के सारे क्लिप खोल डाले. इससे मेरे बाल बिखर गए और फिर उन्होंने मुझे नीचे बैठाया तथा उल्टा घुमा के मेरे बालों में पानी डालना शुरू कर दिया. इसके बाद बालों को अच्छे से गीला करके उन्होंने उनमें शैम्पू लगाया.अब तक मेरी चूत गीली और निप्पल कड़े हो गये थे. फिर उन्होंने मेरे पूरे बदन को पानी से भिगो दिया और इसके बाद फिर मेरी पसंदीदा साबुन पियर्स को मेरे पूरे बदन पर लगाना शुरू कर दिया.

 अब वो मेरी चूचियों पर साबुन लगा रहे थे और मेरी चूचियां तनकर उनको चैलेंज दे रही थीं कि मुझे मसल डालो, रगड़ डालो, लेकिन वो आराम से साबुन लगा रहे थे.फिर वो मेरे कांख (अंदर आर्म्स) में साबुन लगाने लगे और वहां पर जो बाल थे उसे रेजर से साफ करने लगे. उन्होंने मेरी दोनों कांख के सारे से बाल साफ कर दिए. इसके बाद वो साबुन से मेरे पेट और पीठ की सफाई करने लगे. पेट और पीठ की सफाई करने के बाद उन्होंने सीधे मेरे पैरों पर साबुन लगाकर दोनों पैरों को अच्छे से साफ कर दिया.फिर बाथरूम में कपड़ा बिछाकर मुझे लेटने के लिए बोले. मेरी चूत पूरी तरह गीली हो चुकी थी. जिस पर वे साबुन लगाने लगे. साबुन लगा कर उन्होंने फिर पानी से मेरी चूत को धोया और इसके बाद फिर से साबुन लगाकर रेजर से पूरे बाल साफ कर दिए.अब उन्होंने मुझे उल्टा लेटने को कहा और फिर उन्होंने मेरी गांड में साबुन लगाना शुरू कर दिया और फिर रेजर से गांड के आस-पास के सारे बाल साफ कर दिए. फिर उन्होंने मुझे करवट लेटने को कहा और मेरी एक टांग उठाकर अपने कंधे पर रख लिया और अब एक बार फिर उन्होंने मेरी चूत और गांड में साबुन लगाया. इस बार वो चूत के अंदर उंगली कर – कर के साबुन लगा रहे थे तथा जरूरत पड़ने पर रेजर से साफ भी कर रहे थे.फिर वो मेरी गांड के अंदर अपनी छोटी वाली उंगली डालकर साबुन लगाने लगे और गांड के आस-पास के सारे बालों को उन्होंने साफ कर दिया. 31 साल में शायद पहली बार मेरी इतनी सफाई हो रही थी. इस बार उन्होंने मुझे नहलाते हुए कुछ फ़ोटो भी लिए.फिर उन्होंने मुझसे कहा कि अब तुम मेरी सफाई करोगी तो मैंने कहा कि तुम ऐसे ही मुझे बहुत अच्छे लगते हो. लेकिन वे नहीं माने और बोले कि नहीं, ये जरूरी है. फिर मैंने उनके बालों को शैम्पू किया और उनकी पीठ, पेट और पैरों पर भी साबुन लगाकर अच्छे से सफाई की.

फिर मैंने उनके लंड को पकड़ कर उसके आस-पास खूब साबुन लगाया. मेरे स्पर्श मात्र से उनका लंड तन कर खड़ा हो गया था. यह देख मुझे उसे चूसने का मन हुआ तो मैंने एक बार चूसने देने को कहा तो उन्होंने कहा, “अभी नहीं, बाद में”.फिर मैंने रेजर से उनके लंड के सारे बाल साफ कर दिये. अब उन्होंने कहा पीछे का भी करना है. और यह कह कर फिर वो उल्टा लेट गए और मैं साबुन लगाकर पूरे उनके चूतड़ और उनके गांड की सफाई करने लगी.अब मेरा उनकी गांड चाटने का मन हुआ तो मैंने फिर से आग्रह किया लेकिन उन्होंने समझाते हुए कहा कि मेरा लंड, गांड और ज़िस्म सब तुम्हारा ही तो है, लेकिन अभी मैं जैसा कह रहा हूँ तुम वैसा ही करो. फिर हम दोनों अच्छे से नहाकर बाहर निकल आये. बाहर निकलने के बाद उन्होंने तौलिये से मेरे पूरे बदन को पोछा और कहा कि अब शादी वाला जोड़ा पहन लो.फिर मैंने उनसे कहा कि जब आप इतना किये हैं तो आज कपड़ा भी आप पहना दीजिये. फिर उन्होंने मुझे पहले पैंटी पहनाई और फिर बिना ब्रा के पहना कर, साया और फिर साड़ी पहना दी. अब मैंने उनके शरीर को पोछा और फिर उन्हें भी कपड़े पहना दिया. कपड़े पहनाते समय उनका लंड पूरा खड़ा था और अपनी साथी यानी मेरी योनि को निहार रहा था.फिर उन्होंने बाजार से लाये गए सामानों में से फूलों का दो हार निकालकर एक मुझे दिया एक ख़ुद रखा लिया. अब हमने एक बार फिर एक – दूसरे को हार पहनाया तथा साथ रहने की कसमें खाई.इसके बाद मेरे पति ने मुझे पलंग पर बिठाया तथा मेरा घूंघट उठा कर मेरे होंठों को किस करने लगे. फिर उन्होंने मेरे गाल पर किस करते हुए मेरे कान पर किस किया और इसके बाद उन्होंने मेरा साड़ी खोल कर उसे हटा दिया और साया भी खोल डाला.

अब मैं सिर्फ ब्लाउज और पैंटी में थी.फिर उन्होंने मुझे उल्टा लिटा दिया और मेरे पैर के तलवों को चाटना शुरू किया. अब वो धीरे – धीरे ऊपर की तरफ बढ़े और फिर मेरी पीठ को चाटने लगे. थोड़ी देर बाद उन्होंने मेरी गर्दन को चाटते हुए मुझसे पूछा कैसा लग रहा है? तो मैंने कहा बहुत अच्छा लग रहा है!फिर उन्होंने पूछा, “तुम कौन हो?” तो मैंने कहा, “आपकी दासी, आपकी रण्डी”. तो पति ने कहा, “क्या चाहती हो?” मैंने कहा, “मैं चाहती हूँ कि आप मुझे रण्डी की तरह चोदो, मेरी चूत फाड़ दो और मेरी गांड मार कर उसके छेद को इतना बड़ा कर दीजिए कि उसमें खीरा घुस जाए.अब उन्होंने कहा, “आज मैं तुमको बहुत तरीके से चोदूंगा और तुम्हारी चूत में खीरा, गाजर, मूली, करेला सब डालूंगा. आज मैं तुम्हारी गांड की सुहागरात मनाऊंगा.यह सुन कर मैं बहुत उत्तेजित हो गयी और बोली, “करिये न प्लीज, आपकी रांड तड़प रही है, चोदो मुझे, खूब चोदो, मैं आपकी दासी हूँ”. फिर थोड़ा रुक कर मैंने कहा, “आज मैं तुमको अपना कुत्ता बनाऊंगा, तुम तैयार हो?” तो उन्होंने कहा, “कुत्ता क्या! मैं तो सूअर बनने के लिए भी तैयार हूं. बस मैं जैसा बोलूं वैसा ही करना”. तो मैंने हां में सिर हिला दिया.मेरी इस कहानी को पढ़ने के लिए आप लोगों का बहुत – बहुत धन्यवाद. मैं आपकी प्रतिक्रिया की बेहद बेसब्री से इंतज़ार करूंगी. आगे की कहानी मैं अगले भाग में आप लोगों की प्रतिक्रिया जानने के बाद बयान करूंगी.
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